3. कई बार हमारी दिनचर्या काफी व्यस्त होती है। कई तरह की मीटिंग्स, फोन कॉल्स, ईमेल के जवाब और रोजाना के काम उन्हें लगातार व्यस्त रखते हैं। व्यस्त दिनचर्या महत्वपूर्ण होने का अहसास भी कराने लगती है, लेकिन कभी-कभी यह सिर्फ भ्रम होता है। इतनी व्यस्तता के बावजूद कुछ भी उत्पादक काम वे नहीं कर पाते। इसका समाधान है- थोड़ा रुकिए, अपने लक्ष्यों और उद्देश्य को दोहराइए, जो सबसे जरूरी हो, उसे सबसे पहले कीजिए। एक समय में एक ही काम कीजिए।
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